महाराष्ट्र के गोंदिया से बालाघाट 44 किमी पैदल पहुंचे 30 मजदूर, 2 दिन में पूरी की यात्रा

 मंडला जिले के ग्रामीण अंचलों के 30 मजदूर रोजी-रोटी की तलाश में आंध्रप्रदेश के खम्मम गए थे। कोरोनो संक्रमण के बढ़ते दायरे के बाद यह सभी मजदूर खम्मम से गोंदिया तक पहुंचे। यहां बसें नहीं मिलने से 2 दिन पैदल चलकर 44 किलोमीटर दूर बालाघाट पहुंचे। बालाघाट जिले की सीमा में प्रवेश के दौरान पुलिस ने इनसे पूछताछ की तो पता चला कि ये कमाने के लिए गए थे।


इधर, आंध्रप्रदेश से आए इन मजदूरों की जानकारी प्रशासनिक अमले को दी गई है। मजदूरों के स्वास्थ्य परीक्षण को लेकर जानकारी नहीं मिल पाई है। शहर पहुंचे एक मजदूर ने बताया कि वे ट्रेन से गोंदिया आए थे। बालाघाट आने के लिए सुबह 4 बजे चले थे और अपराह्न बाद यहां पहुंचे। आज रात कहीं बसेरा करने के बाद मंगलवार सुबह पैदल ही मंडला जिला चले जाएंगे। बालाघाट में मजदूरों के खान-पान की व्यवस्था आयुर्वेद चिकित्सक समाजसेवी डॉ. रमेश  सेवलानी ने की। इस संबंध में प्रशासनिक अधिकारियों को जानकारी से अवगत कराया।



बालाघाट कलेक्टर ने मंडला भेजने की व्यवस्था कराई


मंडला जिले के 30 मजदूरों को बालाघाट कलेक्टर द्वारा एक वाहन की व्यवस्था की गई। जिसमें मजदूरों को उनके गांव मंडला जिले में भेजा गया। एमपी 50 रेस्टोरेंट के मालिक द्वारा सभी मजदूरों को भोजन कराया गया।


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